कानूनी सलाह

डूबे हुए पैसों को प्राप्त करने की कानूनी प्रक्रिया क्या है?

डूबे हुए पैसों को प्राप्त करने की कानूनी प्रक्रिया क्या है?

इंसानी तौर पर एक दूसरे की मदद करना हमारी आदत होती है। हम अपने दोस्तों की या परिजन की मदद या तो लेते हैं या करते हैं। कई बार यह मदद पैसों की होती हैं। यानि आप अपने किसी परिजन को पैसे उधार देते हैं। मगर हर बार आपके उधार दिए हुए पैसे वापस मिलें …

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पैसे वापस लेने की कानूनी प्रक्रिया क्या है?

What is the legal process for withdrawing money

जब कोई उधार की रकम वापस न करे हम अक्सर भरोसे पर अपने जानने वालों को उधार पैसे दे देते हैं। पर जब वही व्यक्ति रकम वापस नहीं करता, तो स्थिति तनावपूर्ण और जटिल हो जाती है। रकम चाहे छोटी हो या बड़ी, उधार के पैसे न मिलने पर मानसिक, सामाजिक और आर्थिक दबाव बढ़ता …

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एम्प्लॉयमेंट कॉन्ट्रैक्ट और इसका महत्व

एम्प्लॉयमेंट कॉन्ट्रैक्ट और इसका महत्व

एक नियोक्ता (employer) और कर्मचारी (employee) के बीच हुआ एक औपचारिक रोजगार समझौता (formal employment contract) कर्मचारी के उस कंपनी के साथ काम करने के सभी नियम, कानून और शर्तों को तय करता है। यह निहित, मौखिक या लिखित हो सकता है, और अक्सर कर्मचारी को एक नई कंपनी ज्वाइन करने से पहले एक फॉर्मल …

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क्या कोर्ट पत्नी को पति के साथ रहने के लिए मजबूर कर सकता है? समझिए सेक्शन 9 RCR (Restitution of Conjugal Rights)

Can the court force the wife to live with the husband Understand Section 9 RCR (Restitution of Conjugal Rights)

विवाह और कानून के बीच संतुलन भारत में विवाह न केवल एक सामाजिक और धार्मिक संस्था है बल्कि एक कानूनी अनुबंध भी माना जाता है। जब पति-पत्नी के बीच रिश्तों में तनाव आता है और वे अलग रहने लगते हैं, तो कई बार एक पक्ष चाहता है कि दूसरा जीवनसाथी फिर से साथ रहे। ऐसे …

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मैरिज काउन्सलिंग की प्रोसेस, खर्चा और साइड इफेक्ट्स क्या है?

मैरिज काउन्सलिंग की प्रोसेस, खर्च और साइड इफेक्ट्स

मैरिज काउंसलिंग उन कपल्स के लिए एक तरह की साइकोलोजिक्ल थेरेपी है जिनका रिश्ता खत्म होने की कगार पर है या जिनका रिश्ता खत्म होने की ओर बढ़ रहा है। थेरेपी का यह ट्रीटमेंट अलग-अलग शादियों की अलग-अलग सिचुएशन पर डिपेंड करता है। यहां तक ​​​​कि सबसे खुश कपल को भी अपने रिश्तों में परेशानी …

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अब मुस्लिम महिलाओं के पास भी खुला के रूप में डाइवोर्स देने का अधिकार है?

तलाक-ए-हसन इतना गलत नहीं है, महिलाओं के पास भी खुला के रूप में एक ऑप्शन है।

हाल ही में, जस्टिस संजय किशन कौल और एमएम सुंदर की सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने कहा कि “प्राइमा फेशिया तलाक-ए-हसन इतना भी गलत नहीं है, महिलाओं के पास भी ‘खुला’ के रूप में एक ऑप्शन है।  इस्लाम के तहत प्रचलित तलाक-ए-हसन में, एक हस्बैंड अपनी वाइफ को तीन महीने तक हर महीने एक बार …

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हाई कोर्ट ने हस्बैंड को निर्देश दिया कि वाइफ को लॉयर हायर करके शादी तोड़ने की कार्यवाही करने के लिए 25000 रुपये दे।

हाई कोर्ट ने हस्बैंड को निर्देश दिया कि वाइफ को लॉयर हायर करके शादी तोड़ने की कार्यवाही करने के लिए 25000 रुपये दे।

पूजा एस v अभिषेक शेट्टी के केस में, कपल ने साल 2011 में शादी की और उनके 2 बच्चे हैं, बाद में हस्बैंड ने हिंदू मैरिज एक्ट के सेक्शन 13 (1) (i) और (ii) के तहत तलाक की मांग करते हुए याचिका दायर की। पत्नी ने हिंदू विवाह अधिनियम की धारा 24 के तहत एक …

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आर्बिट्रेशन के फैसले में देरी होने पर उसके फैसले को चैलेंज किया जा सकता है।

आर्टीब्रेशन के फैसले में देरी होने पर उसके फैसले को चैलेंज किया जा सकता है।

जज विभु बाखरू की सिंगल जज बेंच ने कहा कि अगर बिना किसी वैलिड रीज़न के आर्बिट्रल अवार्ड में देरी होती है, तो ऐसे केसिस में आर्बिट्रेशन के फैसले को चैलेंज किया जा सकता है। इस केस के दौरान यह माना गया कि बिना किसी एक्सप्लेनेशन दिए आर्बिट्रेशन के फैसले में देरी करना भारत की …

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भारत में धर्म के अनुसार एडॉप्शन प्रोसेस क्या है?

भारत में धर्म के अनुसार एडॉप्शन प्रोसेस क्या है?

भारत में सभी धर्मो के अलग अलग पर्सनल लॉ बनाये गए है। ताकि किसी धर्म के लोगों को परेशानी ना हो और वह अपनी ज़िंदगी अच्छे से जी पाए। इस पर्सनल लॉ के अंदर परसनल मैटर्स जैसे शादी, डाइवोर्स, चाइल्ड कस्टडी, मेंटेनेंस, आदि आता है। आईये जानते है इन पर्सनल लॉ के तहत अलग-अलग धर्मों …

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टॉप 5 राइट्स, जो हर अन मैरिड कपल को पता होने चाहिए।

टॉप 5 राइट्स, जो हर अन मैरिड कपल को पता होने चाहिए।

कई बार कपल किसी पार्क, मंदिर या किसी और पब्लिक प्लेस में बैठे होते है। और पुलिस आकर उन्हें परेशान करने लगती है। कपल को अरेस्ट करने की या उनके पेरेंट्स को इन्वॉल्व करने की बात करती है। तो कपल घबरा जाते है। ऐसे में वह पुलिस द्वारा पूछे गए नार्मल सवालों जैसे उनका नाम …

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